गुरुवार, 29 दिसंबर 2016

अब कार्यस्थल पर महिला उत्पीड़न करनेवालों की खैर नहीं; महज 30 दिनों में पूरी होगी जांच

नई दिल्ली: केंद्र ने अपने मंत्रालयों और विभागों से कार्यस्थल पर महिलाओं के यौन उत्पीड़न से जुड़ी जांच के मामलों को शिकायत की तारीख से तीस दिन के भीतर और कुछ खास मामलों में नब्बे दिन के भीतर पूरी करने को कहा है। केंद्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री मेनका संजय गांधी ने कार्यस्थल पर महिलाओं का यौन उत्पीड़न (रोकथाम, निषेध और निवारण) अधिनियम, 2013 के बारे में एक समीक्षा बैठक का आयोजन किया। बैठक के दौरान विभिन्न मंत्रालयों, विभागों में यौन उत्पीड़न के लंबित मामलों की भी जांच की गई।

गांधी ने बहुत जल्द जारी किए गए दिशा-निर्देशों के लिए डीओपीटी की सराहना करते हुए कहा कि महिला एवं बाल विकास मंत्रालय कार्यस्थल पर महिलाओं के यौन उत्पीड़न से संबंधित मुद्दों पर लगातार काम करेगा और अगर उसे किसी अन्य क्षेत्रों में भी जरूरत पड़ती है तो इस बारे में आगे विचार-विमर्श करेगा। महिला एवं बाल विकास मंत्रालय ने केन्द्र सरकार के मंत्रालयों व विभागों के तहत आंतरिक शिकायत समिति के प्रमुखों को प्रशिक्षित करने के लिए एक व्यापक योजना तैयार करेगी।

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