सलमान खान की मुश्किलें फिर बढ़ सकती हैं। काले हिरण और चिंकारा शिकार मामले में सलमान की रिहाई के खिलाफ राजस्थान सरकार सुप्रीम कोर्ट पहुंच गई है। राज्य सरकार ने सलमान खान को बरी किए जाने के राजस्थान हाईकोर्ट के फैसले को चुनौती दी है।
इससे पहले 1998 में काला चिंकारा शिकार मामले के अहम गवाह हरीश दुलानी के सामने आने के बाद राजस्थान सरकार ने ऐलान किया था कि वह इस मामले में हाईकोर्ट के सलमान को बरी करने के आदेश को चुनौती देगी और हरीश दुलानी को भी सुरक्षा मुहैया कराएगी।
दुलानी ने बताया था कि सलमान ने ही काला चिंकारा को मारा था। दुलानी ने कहा था, 'अगर मुझे और मेरे परिवार को सुरक्षा मिलती है तो मैं बयान दे सकता हूं। मैं अभी भी अपने पहले वाले बयान पर कायम हूं कि उस चिंकारा को सलमान खान ने ही मारा था।'
दुलानी ने बताया था कि सलमान ने ही काला चिंकारा को मारा था। दुलानी ने कहा था, 'अगर मुझे और मेरे परिवार को सुरक्षा मिलती है तो मैं बयान दे सकता हूं। मैं अभी भी अपने पहले वाले बयान पर कायम हूं कि उस चिंकारा को सलमान खान ने ही मारा था।'
हाईकोर्ट केस के पूरे हालात को देखने में नाकाम रहा
राजस्थान सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में कहा है कि राजस्थान हाईकोर्ट ने ट्रायल के दौरान मामूली विसंगतियों से पूरे मामले को हल्का नहीं किया जा सकता। हाईकोर्ट इस केस के पूरे हालात को देखने में नाकाम रहा है, जो बिना शक अभियोजन पक्ष द्वारा साबित करते हैं कि सलमान इस मामले में दोषी हैं।
सलमान को निचली अदालत ने सबूतों के आधार पर दोषी ठहराया था, लेकिन हाईकोर्ट ने अति तकनीकी आधार पर फैसला दिया, जो कानून में कहीं नहीं ठहरता। राजस्थान सरकार ने सुप्रीम कोर्ट से कहा कि सलमान खान को सरेंडर करने के लिए कहा जाए।
बता दें कि हाईकोर्ट ने काले हिरण और चिंकारा शिकार मामले में सलमान खान को बरी कर दिया था। काले हिरण के शिकार मामले में सलमान को निचली अदालत से 5 साल की सजा मिली थी, जबकि चिंकारा के शिकार के लिए उन्हें एक साल की सजा दी गई थी।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें